Wednesday, March 13, 2013

बलात्कारी और हत्यारे दम्पत्ति की रोंगटे खड़े कर देने वाली दास्तान

प्यार में बन गई पाप की गठरी
कारला होमोलका

पॉल बीर्नाडो और कारला होमोलका की बलात्कारी व हत्यारी जोड़ी टोरोन्टो की भोली-भाली लड़कियों को अपने जाल में पफंसाती। पॉल बलात्कार करने के बाद उनकी निर्मम हत्या कर देता। लड़कियों की कटी हुई लाशें झील में तैरती नजर आती...

 पहली ही नजर में कारला पॉल पर पिफदा हो गई थी। मिलना-जुलना बढ़ता गया और दूरियां नजदीकियों में बदल गईं। कारला का प्यार दिन पर दिन बढ़ता गया। पॉल की गहरी आंखें, गोरा रंग, आकर्षक चेहरा और अपनेपन से कारला कापफी प्रभावित थी। पॉल पेशे से करोड़पति एकाउंटेंट था। कारला पॉल के हर पल नजदीक रहना चाहती थी। इसका एक ही रास्ता था शादी। कारला ने अपनी इच्छा घरवालों को बता दी। चाय के बहाने से कारला के परिवार वालों ने पॉल को बुलाया और दोनों का उसी शाम रिश्ता भी तय हो गया। कारला के परिवार वाले उसकी पसन्द की दाद दे रहे थे। कारला पॉल को जान से ज्यादा चाहती थी। जैसे-जैसे समय बीतता गया, कारला का प्यार गहरा होता गया। तभी अचानक पॉल ने अनैतिक मांग करनी शुरू कर दी। बात-बात पर कारला पर गुस्सा करना, बार-बार डांटना रोज की आदत बन गई थी। कई दिन तक तो कारला को उसके गुस्से का कारण मालूम नहीं हुआ। पर उस रात तो हद हो गई, जब पॉल ने बेझिझक बोल दिया, ‘‘कारला, मुझे तुम्हारी बहन के साथ सिपर्फ एक रात का समय चाहिए। मैं जानता हूं कि मेरे साथ तुम्हारी दूसरी शादी होगी। मैं पहले प्यार के लिए तरस गया हूं।’’
पॉल बीर्नाडो और कारला होमोलका की बलात्कारी व हत्यारी जोड़ी


कारला भला कैसे बर्दाश्त करती कि उसकी बहन उसका बिस्तर बांटे। कारला को समझाना कठिन था, पर किसी तरह पॉल ने कापफी कोशिशों के बाद उसे समझा लिया। अब क्या था। कारला पॉल के प्यार में बेबस थी और प्यार की खातिर अपनी ही बहन की इज्जत की कुर्बानी देने को तैयार थी। कारला वेटरनरी क्लीनिक में नौकरी करती थी, इसलिए उसे दवाइयों की कापफी जानकारी थी। हर समय वह यही सोच में लगी रहती कि कैसे बहला-पुफसलाकर अपनी बहन को प्रेमी के सामने पेश करे। अंत में कारला ने तय कर लिया कि अपनी बहन टैमी को बेहोश करने के लिए हैलिकान का इस्तेमाल करेगी। यहीं से उसका नैतिक पतन शुरू हो गया। वह 23 दिसम्बर की रात थी। घर में देर रात तक पार्टी चलती रही। कारला मन ही मन में अपने पति को खुश करने की जुगत में लगी थी। एक तरपफ घर में त्योहार की चमक-दमक थी, दूसरी तरपफ कारला अपने प्रेमी को क्रिसमस का तोहपफा देने की तैयारी में थी। उसने विशेष तौर पर अपनी बहन टैमी को पार्टी में बुलाया था।

प्यार भी इतना अंधा नहीं होना चाहिए कि उसे पाने के लिए इतना घृणित और अमानवीय कार्य करने को मजबूर होना पड़े। कारला ने अपनी सगी बहन को ही प्यार की हवस चढ़ा दिया था। अब चाहे वह कितना भी पछता ले, पर लौटा वक्त वापस नहीं आयेगा। उसके अपराध के नासुर उसे जिन्दगी भर टीस देते रहेंगे...

पार्टी के दौरान हर तरपफ चहल-पहल थी। कारला ने एक कोल्ड ड्रिंक में नशीली दवा मिला कर टैमी को पिलानी शुरू कर दी। दवाई का असर जल्दी ही हो गया। टैमी को चक्कर आने लगे तो वो कमरे में जाकर आराम करने लगी। कुछ ही देर बाद टैमी बेहोश पड़ी थी। परिवार के सभी सदस्य सोने चले गये थे। पॉल कारला के साथ उस कमरे में गया, जहां टैमी बेहोश पड़ी थी। वहां जाते ही उसने अपना काम शुरू कर दिया।
टैमी पलंग पर चित्त अवस्था में लेटी थी। उसके कम कपड़े भी अस्त-व्यस्त थे। पाल अपनी पैंट की बेल्ट खोलते हुए कारला बोला, ‘‘कारला, मैं तुम्हारे इस तोहपफे से बेहद खुश हूं।’’
कारला जल्दी-जल्दी टैमी के कपड़े उतारने लगी। बेलिबास टैमी के जिस्म को देख पॉल खुद पर काबू नहीं रख पाया। उसने अपने शरीर से सारे कपड़े अलग कर दिये। अगले ही क्षण उसका नंगा बदन टैमी की टांगों के बीच पहुंच गया। वासना का नशा अब पॉल की आंखों में तैर रहा था। टैमी बेसुध और लाचार पॉल के नीचे दबी पड़ी रही।
धीरे-धीरे पॉल उसके खूबसूरत और नाजुक शरीर को रौंदने लगा। टैमी की हालत की परवाह किये बिना पॉल उसकी जवानी से खेलता रहा। पिफर जोश खत्म होने के बाद वह झटपट उठ गया।
पॉल का काम खत्म होने तक कारला टैमी का मुंह बंद किये रही। कारला वहीं पर गुमसुम सी खड़ी अपनी आंखों के सामने अपनी बहन की जवानी को अपने पति हाथों लुटते हुए देखती रही और वीडियो रिकार्डिंग करती रही। पॉल अपनी इच्छा पूरी कर वहां से चला गया। देखते ही देखते टैमी को जोर-जोर से झटके आने लगे। ऐसा देख कर कारला ने पफटापफट टैमी को कपड़े पहनाये। कारला ने अपना काम बड़ी चतुराई से किया। ड्रग्स और कैमरा छुपा कर एम्बुलेंस बुलाने के लिए पफोन करने लगी। कारला के माता-पिता को जरा भी भनक नहीं हुई कि टैमी की मौत का कारण कोल्ड ड्रिंक में मिलाई हुई हैलोकान की अधिक डोज थी। और उसके साथ बेहोशी की हालत में बलात्कार भी किया गया था।
सभी को यही लगा कि टैमी की मौत अधिक उल्टी आने से दम घुटने की वजह से हुई है, न की हैलिकान की ज्यादा मात्रा पिलाने से। चुपचाप कारला और पॉल बलात्कार व हत्या के जुर्म से बच गये। कारला तो पॉल के प्यार में अभी भी पागल थी। हर समय पॉल की इच्छा पूरी करने में लगी रहती। वह अलग-अलग तरह के पोज भी करके पॉल की ख्वाहिश को पूरा करने में असमर्थ रही। अब पॉल ने पहले की तरह पिफर से कहना शुरू कर दिया, ‘‘मुझे पहले प्यार की तमन्ना है। शरीर की आग बुझाने के लिए अब एक नई लड़की की तलाश है।’’
पॉल ने कारला पर ही टैमी को मारने का आरोप लगाया कि उसी ने गलत डोज पिलाई थी। उसने चेतावनी भी दी कि अब किसी को ऐसी डोज देकर गलती दोबारा न दोहराए। उसने कालरा से पिफर किसी जवान लड़की को पफंसाने के लिए कहा। मगर कालरा अब यह सब करने से कतराने लगी। मगर उसकी एक न चली। कापफी देर तक इनकार करने के बाद कारला मान गई। उसकी अगली शिकार थी जैन, जो कि टैमी की हमशक्ल थी और उसका कापफी कुछ टैमी से मिलता था। जैसे उम्र, रंग, कद व बाल। जैन से जान पहचान बढ़ाने के बाद कारला ने उसे अपने नये मकान के मुहूर्त पर अपने घर बुलाया। उसी शाम कारला जैन को डिनर कराने के लिए बाहर ले गई। वहीं धीरे-धीरे उसने कोल्ड ड्रिंक के अन्दर हेलोकान की गोलियां मिलानी शुरु कर दीं। जिसका असर घर पहुंचने तक हो गया। घर पहुंचने पर जैन गहरी नींद में थी।
आधी रात को जब जैन बिल्कुल बेहोश थी, कारला ने पॉल को वेडिंग गिफ्रट के लिए बुलाया। जैन को देखकर पॉल बहुत खुश था कि जैन का चेहरा व जिस्म टैमी से मिलता था। पर एक डर उसके मन में था कि कहीं पिफर से कारला वही गलती न दोहरा दे, जो टैमी के समय हुई थी। हैलोकान की अधिक डोज न पिला दे। पर कारल ने तसल्ली दी, ‘‘पॉल, तुम बेपिफक्र रहो। मैंने डोज का ध्यान रखा है।’’
जल्दी से कारला ने जैन के कपड़े उतारने शुरु कर दिये। पॉल की प्यासी आंखें जैन के गोरे जिस्म पर जमी थीं, जो अब अनावृत था। जैन न तो दया की भीख के लिए गिड़गिड़ाई और न ही विरोध किया। बस बेहोश बिस्तर पर पड़ी रही। पॉल एक ही झटके में जैन पर सवार हो गया। अपने होंठोें को उसकी छातियों के बीच रगड़ते हुए कारला से बोला, ‘‘मेरा ऐसे ही जिस्म को पाने का सपना था, जो तुमने पूरा कर दिया। ओह मुझे इस हसीन पल का कब से इंतजार था... ओह... ओह।’’ पॉल जैन के गोरे जिस्म को चूमते हुए बोला। पिफर वह बेसुध पड़ी जैन के जिस्म से खेलने लगा।
कारला के भीतर नपफरत का सैलाब उमड़ रहा था, पिफर भी वह अपनी आंतरिक भावनाओं को छुपाते हुए बोली, ‘‘मुझे और कितनी देर प्यासी रखोगे?’’
कुछ ही क्षणों में झटके खाकर पॉल ढेर हो गया। पिफर हटते हुए बोला, ‘‘मुझे ऐसा आनन्द पहले कभी नहीं आया।’’
उसे रोज एक नया जिस्म चाहिए था, जिससे कि वो अपने शरीर की आग बुझा सके।
पॉल पन्द्रह वर्षीया जैन का रेप करने में सपफल रहा। कारला बिस्तर सापफ करने लगी। सुबह जैन को होश आया। पर वो रात के हादसे से अनजान थी। कारला को जैन ने बताया, ‘‘पेट में दर्द हो रहा था। शायद कल रात बाहर का खाना खाने की वजह से हुआ है।’’
कारला चुप रही।
पॉल कारला के तोहपफे से खुश होकर कारला से शादी के लिए तैयार हो गया। टैमी और जैन के साथ अपनी प्यास शांत करने के बाद कारला में पॉल की दिलचस्पी कम हो गई थी। शेर के मुंह में खून लग गया था। मगर उसकी यह ख्वाहिश सिपर्फ कारला ही पूरी कर सकती थी।
मन ही मन अपनी इस चाहत को पूरा करने के लिए वह कारला से शादी करने की तैयारियों में जुट गया। राजसी तरीके से दो सपफेद घोड़ों के रथ पर ऐतिहासिक चर्च नीगारा लेक के किनारे बने हाल के अन्दर दुल्हन बनी कारला ने प्रवेश किया। शादी में शराब, कबाब और शबाब का प्रबंध किया गया था। कारला की वेडिंग डेªस से लेकर उसके हेयर स्टाइल का चुनाव पॉल ने ही किया। वैडिंग भोजन सूची से लेकर वेडिंग वेन्यू पॉल की पसंद का था। शादी में पॉल ने पैसे दिल खोल कर लगाये और कारला की इच्छा पूरी करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ी। कारला को एक लाख की वेडिंग डेªस गिफ्रट में देकर पॉल कापफी दूर की सोच रहा था। कारला की खुशी का पूरा ध्यान रख रहा था, जिसमें उसका अपना स्वार्थ छिपा हुआ था।
बचपन से पॉल का खिंचाव लड़कियों की तरपफ था। उसका दिमाग भी कापफी रोमांटिक था। जवानी में कदम रखते ही उसने उस पर अमल करना शुरू कर दिया। पॉल ने टोरोन्टो विश्वविद्यालय से ग्रेजुएशन के दौरान ही अलग-अलग लड़कियों के साथ डेटिंग पर जाना शुरू कर दिया था। कभी-कभी तो उसे डेट पर ले जाकर मारने की धुन सवार हो जाती थी। उन्हें तंग करके वो बेहद खुश होता था। वहीं 18 वर्ष की आयु से ही पॉल ने यू.एस. कनेडियन बार्डर से सिगरेट की तस्करी शुरू कर दी थी।
ग्रेजुएशन करने के बाद पॉल ने प्राइस वाटर-हाउफस में एकाउफंटेंट की नौकरी शुरू कर दी। वहां भी गर्लप्रफेंड्स का शोषण करना जारी रहा। 1987 में पॉल की अपनी सपनों की रानी से मुलाकात हुई। और जल्द ही कालरा को अपने प्यार के जाल में पफंसा लिया। उसने कारला से अपनी सभी शर्तें मंजूर करने के लिए कहा। कारला को पॉल की सभी शर्तें मंजूर थीं। दोनों ने मिलते ही शारीरिक संबंध स्थापित कर लिए। कारला के मिलते ही पॉल ने अपना काम शुरू कर दिया। अब टोरोन्टो शहर से 14-18 वर्ष की लड़कियां लापता होनी शुरू हो गईं।
अब पॉल अपना शिकार नगर की बाहरी बस्तियों में ढूंढ़ने लगा। हर लड़की को पकड़ने का एक ही तरीका था। जैसे ही लड़की सामने से आती हुई बस से उतरती, पॉल धक्का मार कर उसे गिरा देता। पिफर झाड़ियों के बीचोंबीच घसीटता हुआ उसे सुनसान इलाके में ले जाता। वहां जाकर मन चाहे तरीकों से उसकी आबरू लूटता। अपनी हवस पूरी करने के बाद उसे वहीं छोड़ देता। सन 1989 में पॉल द्वारा बलात्कार का शिकार हुई लड़कियों की गिनती ग्यारह से उफपर हो गई। तब टोरोन्टो पुलिस ने लड़कियों के बयान से अपराधी का चित्रा बनाना शुरू किया। अधिकतर लड़कियों ने बताया कि बलात्कारी के साथ एक लड़की भी थी, जो लड़कियां पकड़ने में उसकी मदद कर रही थी।
डिटेक्टिव कोनस्टेबल स्टीव इरविन को टोरोन्टो मेट्रोपोलिटन पुलिस ने बलात्कारी को पकड़ने के लिए चुना। 1 मई, 1990 में सरकार ने 150,000 डॉलर का इनाम भी घोषित किया। डिटेक्टिव स्टीव ने डी.एन.ए. टेस्टों के जरिए बलात्कार का शिकार हुई लड़कियों की जांच की। रक्त जांच करते करते कई नमूने पॉल से मेल खाते थे।
परंतु पॉल के खेल जारी रहे। सिगरेट की तस्करी करने के लिए पॉल को चोरी की लाइसेंस प्लेटों की जरूरत रहती थी। जिससे उसे अमेरिकन-कनेडियन बार्डर पार करने में आसानी रहती थी। लाइसेंस प्लेटें ढूंढ़ते हुए उसकी मुलाकात लीसलि माहापफी से हुई।
14 जून, 1991 की शाम लीसलि अपनी सहेली से मिल कर घर की तरपफ लौट रही थी। रास्ते में लीसलि को पैदल चलते देखकर पॉल ने अपनी कार रोक दी। पिफर चाकू दिखा कर जबरदस्ती लीसलि को अपनी कार में धकेल लिया।
वहां से वह घर पहुंचा। घर पहुंचते ही उसने कारला को जगाया। तब दोनों ने 14 वर्षीया लीसलि को कमरे में बन्द कर दिया। पॉल ने लीसलि को बिस्तर पर पटक दिया और कारला को आदेश किया कि वह कैमरा पकड़ कर खड़ी रहे। लीसलि के कपड़े पफाड़ कर पॉल अपने कपड़े उतारने लगा।
‘‘चले जाओ यहां से।’’ लीसलि नपफरत से चिल्लाकर बोली, ‘‘मैं तुम्हारी सूरत भी नहीं देखना चाहती।’’
पलक झपकते ही पॉल ने एक बड़ा सा रूमाल निकाला और लीसलि का मुंह कसकर बांध दिया, ताकि वह आवाज न निकाल सके। दबे हुए स्वर में पॉल बोला, ‘‘थोड़ा इंतजार करो, मेरी जान।’’
पॉल अब लीसलि के सामने खड़ा था। उस खतरनाक आदमी का ध्यान अब लीसलि के अनछुए निर्वस्त्रा बदन की तरपफ था। लीसलि को अहसास हो गया था कि इस जानवर की पाशविक ताकत के आगे वह इतनी लाचार और बेबस है कि अपने बचाव में कुछ भी नहीं कर पाएगी। पिफर भी उसने भागने की कोशिश की, लेकिन नाकामयाब रही।
पॉल अब लीसलि के जिस्म पर बोझ बना हुआ था। लीसलि उसके बोझ के नीचे दबी मन ही मन ईश्वर से प्रार्थना करने लगी कि कोई चमत्कार हो जाये, पर चमत्कार के बजाय कुछ और ही हुआ। लीसलि के खूबसूरत और नाजुक शरीर को पॉल रौंदने लगा। उसे बुरी तरह से रौंद डाला। वह बस रहम की भीख मांगती रह गई। पॉल की हैवानियत की ताकत के चलते लीसलि में अब कोई विद्रोह करने की ताकत नहीं रही थी। अगले ही पल लीसलि के मुख से एक चीख निकली। उसकी सांस थम चुकी थी। पॉल करवट बदल कर पलंग से नीचे उतर गया। लीसलि के जिस्म में कोई हरकत नहीं थी। उसका जिस्म ठंडा पड़ चुका था। पिफर पॉल ने उसके शरीर के टुकड़े कर उन्हें ठिकाने लगा दिये।
29 जून, 1991 की शाम एक पति-पत्नी जिब्सन झील के किनारे टहलने के लिए निकले। उन्होंने पाया कि लकड़ी के पफट्टों के साथ किसी अनजान लड़की की लाश लटकी हुई तैर रही थी। कुछ देर में आस-पास के मछुआरे भी इकट्ठा हो गये। गौर से देखा तो लड़की की कटी हुई टांगें थीं। तभी पुलिस भी कारवाई के लिए आ गई। जांच के बाद पांच अलग-अलग लकड़ी के पफट्टों में से कटे हुए हाथ पैर मिले। कारवाई के दौरान झील के बीचोंबीच लीसलि का जबड़ा मिला, जिससे उसके जिस्म की पहचान हुई।
लीसलि के मर्डर के बाद पॉल को अगले शिकार की तलाश थी। कई दिनों तक पॉल कारला के पीछे पड़ा रहा कि वह जैन को एक बार पिफर से बुला कर लाये। कारला पॉल के प्यार में अंधी थी। अपनी शादीशुदा जिन्दगी बचाने के लिए कारला नई-नई लड़कियों को बहला-पुफसला कर पति को खुश रखने के लिए लेकर आती। 30 नवम्बर, 1991 को 14 वर्षीया टैरी एनडरसन की लाश डलहौजी पोर्ट पर मिली। डॉक्टरी परीक्षण के बाद भी हत्यारे का सुराग नहीं मिला। इसका भी बलात्कार के बाद कत्ल पॉल ने किया था।
16 अप्रैल, 1992 को आकर्षक युवती क्रीस्टीन प्रफेंच चर्च की पार्किंग से लापता हो गई। दरअसल कारला बातों-बातों में उसे अपनी कार के नजदीक ले गई। कार के पास पहुंचते ही पॉल ने जोर-जबरदस्ती करके कार में धकेल दिया। अपने घर ले जाकर पॉल ने उसका भी वही हाल किया, जो लीसलि का किया था। क्रीस्टीन को मारना जरूरी हो गया था, क्योंकि वह सीधा पुलिस स्टेशन जाने की धमकी देने लगी थी। बलात्कार करने के बाद क्रीस्टीन के जिस्म के टुकड़े-टुकड़े करके घर के बाहर मिट्टी खोद कर गाड़ दिये।
पॉल बीर्नाडो और कारला की बलात्कारी हत्यारी जोड़ी सेंट केथरिन ने आजाद घूम रही थी। सूपरिटेन्डेंट विन्स बीवान को लीसलि महापफी केस की जिम्मेदारी सौंपी गई। ओंतारियो सरकार ने क्रीस्टीन प्रफेंच के हत्यारे की खोज में ग्रीन रिबन टास्क पफोर्स का गठन किया। दूसरी तरपफ टोरोन्टो मेट्रोपोलिटन के डिटेक्टिव कोनस्टेबल स्टीवू इरविन ने पॉल के खिलापफ सभी सबूत इकट्ठे कर लिये। सभी लाशों के रक्त नमूने पॉल के नमूनों से मेल खाते थे। उन्हें संतुष्टि थी कि अब जल्द ही पॉल उसकी गिरफ्रत में होगा।
जैसे ही स्टीव इरविन पुलिस स्टेशन पहुंचे तो क्या देखते हैं कि थाने में कारला ने पॉल के खिलापफ रिपोर्ट दर्ज कराई है। टोरोन्टो पुलिस और ग्रीन रिबन टास्क पफोर्स की जांच टीम ने कारला से चार घंटों तक पूछताछ की। पूछने पर कारला ने बताया कि उसके पति ने उसे बुरी तरह से मारा था, जिससे उसकी आंखों के पास काले निशान पड़ गये।
कारला के माता-पिता से यह बर्दाश्त नहीं हुआ और वह उसे अपने घर ले गये। पुलिस को पहले ही पॉल पर शक था। एक के बाद एक सबूत पॉल के खिलापफ जा रहे थे। अन्त में पफरवरी, 1993 में पॉल को गिरफ्रतार कर लिया गया। कारला ने कबूल किया कि उसका पति बलात्कारी व हत्यारा है।
छानबीन करने पर कारला के घर से कई लड़कियों से बलात्कार की वीडियो रिकार्डिंग मिली। अटार्नी जनरल जार्ज वाकर ने बताया कि मर्डर व रेप के जुर्म में कारला का भी हाथ है। यदि वह सच बताये तो उसे कम से कम 12 साल की सजा होगी, नहीं तो उम्र कैद।
कारला पहले ही पॉल के जुल्मों से सहमी हुई थी। उसने बताया, ‘‘मैंने पॉल के कहने पर लड़कियों को पफंसाया। ऐसा नहीं करने पर उसने मुझे छोड़ कर जाने की धमकी दी थी।’’
पॉल बीर्नाडो के मुकदमे की कारवाई जज पेट्रिक लीसाजे के कोर्ट रूम में मई, 1995 में शुरू की गई। मौजूदा कनेडियन कानून के मुताबिक पॉल को 25 वर्ष की कैद की सजा हुई। पॉल बीर्नाडो को दी निर्दोषों की हत्या, दो अपहरण, दो सेक्सुअल प्रहार, मृत शरीर से बलात्कार करने और सिलसिलेवार रेप करने के लिए न्यायालय द्वारा दोषी ठहराया गया।
कारला को पॉल बीर्नाडो के साथ मिलकर अपराध करने के जुर्म में 12 वर्ष की सजा हुई। जेल में रहते सन् 2000 में कारला की दिमाग हालत ठीक नहीं रही। करेक्शनल सर्विस कनाडा की जुसी मेकलांग ने कारला को जोलेटी जेल से सासकाटून रिजनल मनोचिकित्सक सेंटर में ट्रांसपफर करने का आग्रह किया। सासकाटून सेंटर चारों तरपफ से इलेक्ट्रानिक तारों से घिरा हुआ है। छोटे-छोटे कमरों में ही बाथरूम और सींक लगे हुए हैं। बिस्तर जमीन पर ही बनाये गये हैं।
कारला जुलाई, 2005 को कनेडियन जेल से सजा पूरी करके रिहा हुई। पर कनेडियन सरकार अभी भी सोच में है कि क्या कारला को छोड़ देना चाहिए या नहीं? जेल से रिहा करने से पहले जज जीन बीयुलियु ने कारला की पांच मनोचिकित्सकों से जांच कराई कि क्या कारला का खुला छोड़ना चाहिए या नहीं। पिफलहाल कारला ने पॉल से तलाक ले लिया है और अपना नाम कारला से बदल कर टीले रख लिया है। कारला बताती है, ‘‘मैं आज भी अपनी बहन टैमी को याद करके बहुत रोती हूं। मैं कभी भी अपने आप को मापफ नहीं कर सकती।’’

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